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अंतरिक्ष वैज्ञानिक प्रह्लाद चंद्र अग्रवाल और अनिल भारद्वाज सीओएसपीएआर अवार्ड से सम्मानित

Utkarsh Classes Last Updated 07-02-2025
Space Scientist Prahlad Agrawal & Anil Bhardwaj honoured by COSPAR Award and Honour 3 min read

भारतीय अंतरिक्ष वैज्ञानिक प्रहलाद चंद्र अग्रवाल और अनिल भारद्वाज को अंतरिक्ष अनुसंधान में उनके योगदान के लिए दक्षिण कोरिया के बुसान शहर आयोजित अपनी द्विवार्षिक बैठक में अंतरिक्ष अनुसंधान समिति (सीओएसपीएआर ) द्वारा सम्मानित किया गया।

45वीं सीओएसपीएआर वैज्ञानिक असेंबली 13 -21 जुलाई 2024 तक बुसान, दक्षिण कोरिया में आयोजित की जा रही है।

प्रह्लाद चंद्र अग्रवाल को हैरी मैसी पुरस्कार 

प्रसिद्ध अंतरिक्ष वैज्ञानिक प्रह्लाद चंद्र अग्रवाल को हैरी मैसी पुरस्कार से सम्मानित किया गया। हैरी मैसी पुरस्कार किसी व्यक्ति को अंतरिक्ष अनुसंधान में उसके उत्कृष्ट योगदान के लिए दिया जाता है, जिसके लिए नेतृत्व की भूमिका विशेष रूप से महत्वपूर्ण होती है।

पुरस्कार के हिस्से के रूप में एक छोटे ग्रह का नाम प्रोफेसर अग्रवाल के नाम पर भी  रखा गया।

प्रोफेसर(सेवानिवृत्त) प्रह्लाद चंद्र अग्रवाल मुंबई, महाराष्ट्र में स्थित टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च में खगोल विज्ञान और खगोल भौतिकी विभाग में प्रोफेसर थे।

प्रोफेसर अग्रवाल ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के  एस्ट्रोसैट कार्यक्रम का भी नेतृत्व किया, जो एक्स-रे, ऑप्टिकल और यूवी स्पेक्ट्रल बैंड में आकाशीय स्रोतों का अध्ययन करने के लिए समर्पित था। इसरो ने 2015 में एस्ट्रोसैट मिशन प्रक्षेपित किया था।

प्रोफेसर अग्रवाल चंद्रयान -1 मिशन का भी हिस्सा थे, जिसे इसरो ने चंद्रमा का अध्ययन करने के लिए 22 अक्टूबर 2008 को प्रक्षेपित किया था।

अनिल भारद्वाज को विक्रम साराभाई पदक

  • अनिल भारद्वाज को 45वीं सीओएसपीएआर  वैज्ञानिक सभा में विक्रम साराभाई पदक से सम्मानित किया गया। 
  • इसरो के सहयोग से सीओएसपीएआर द्वारा स्थापित विक्रम साराभाई पदक किसी विकासशील देश के अंतरिक्ष वैज्ञानिक को अंतरिक्ष अनुसंधान में उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए दिया जाता है।
  • अनिल भारद्वाज वर्तमान में भौतिक अनुसंधान प्रयोगशाला, अहमदाबाद, गुजरात के निदेशक हैं।
  • वह चंद्रयान, मंगलयान और आदित्य-एल1 (सूर्य का अध्ययन) मिशन सहित इसरो के सभी अंतरग्रहीय मिशनों में शामिल रहे हैं।

अंतरिक्ष अनुसंधान समिति (सीओएसपीएआर ) के बारे में

  • 1957 में सोवियत संघ द्वारा स्पुतनिक नामक कृत्रिम उपग्रह के सफल प्रक्षेपण के बाद 1958 में अंतरिक्ष अनुसंधान समिति (सीओएसपीएआर ) की स्थापना की गई थी।
  • सीओएसपीएआर की स्थापना अंतर्राष्ट्रीय वैज्ञानिक संघ परिषद द्वारा की गई थी, जिसे अब अंतर्राष्ट्रीय विज्ञान परिषद के रूप में जाना जाता है।
  • सीओएसपीएआर हर दो साल में अपनी वैज्ञानिक सभा आयोजित करता है जिसमें दुनिया भर के अंतरिक्ष वैज्ञानिक भाग लेते हैं।

मुख्यालय: पेरिस, फ्रांस

 फुलफॉर्म

सीओएसपीएआर /COSPAR : कमेटी ऑन स्पेस रिसर्च (Committee on Space Research).

FAQ

उत्तर : भारत के प्रह्लाद चंद्र अग्रवाल।

उत्तर : भारत के प्रसिद्ध अंतरिक्ष वैज्ञानिक अनिल भारद्वाज।

उत्तर: 13-21 जुलाई 2024 तक बुसान, दक्षिण कोरिया में ।

उत्तर: 1958 में

उत्तर: सोवियत संघ, उसने 1957 में स्पुतनिक उपग्रह को सफलतापूर्वक प्रक्षेपित किया था।

उत्तर: पेरिस, फ्रांस

उत्तर: दो साल
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