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एनएसए डोभाल ने अस्ताना में एससीओ बैठक में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया

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Updated: 04 Apr 2024
3 Min Read

भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएएस) अजीत डोभाल ने शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की सुरक्षा परिषदों के सचिवों की बैठक में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया। बैठक कजाकिस्तान की राजधानी अस्ताना में आयोजित की गई थी। उन्होंने एससीओ के वर्तमान अध्यक्ष कजाकिस्तान के राष्ट्रपति कासिम-जोमार्ट तोकायेव से भी मुलाकात की।
एससीओ सदस्य देशों की सुरक्षा परिषदों के सचिवों की 19वीं वार्षिक बैठक 2 से 3 अप्रैल 2024 तक कजाकिस्तान के अस्ताना में आयोजित की गई थी।
बैठक को संबोधित करते हुए कजाकिस्तान के राष्ट्रपति कासिम-जोमार्ट तोकायेव ने 2025-2027 के लिए आतंकवाद, अलगाववाद और उग्रवाद का मुकाबला करने के लिए एक सहयोग कार्यक्रम और 2024-2029 के लिए एससीओ एंटी-ड्रग रणनीति अपनाने की वकालत की।
उन्होंने उल्लेख किया कि एससीओ में कजाकिस्तान की अध्यक्षता के दौरान "तीन बुरी ताकतों" - आतंकवाद, अलगाववाद और उग्रवाद - के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय संगठित अपराध, मादक पदार्थों की तस्करी और साइबर सुरक्षा चुनौतियों का मुकाबला करना प्राथमिकताएं बनी हुई हैं।
इस अवसर पर बोलते हुए, एनएसए अजीत डोभाल ने 22 मार्च को रूस के मॉस्को में स्थित क्रोकस सिटी हॉल पर आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा की, जिसमें 144 लोग मारे गए थे । उन्होंने क्षेत्र में आतंकवाद के खतरे पर प्रकाश डाला और देशों की सुरक्षा स्थिति में सुधार के लिए विभिन्न उपाय सुझाए। अफगानिस्तान पर एनएसए ने कहा कि अफगानिस्तान भारत का पड़ोसी देश है और अफगानिस्तान में भारत के वैध सुरक्षा और आर्थिक हित हैं।
अफगानिस्तान में सुरक्षा स्थिति और आतंकवादी नेटवर्क की उपस्थिति के बारे में गहरी चिंता व्यक्त करते हुए, उन्होंने एससीओ से मानवीय सहायता प्रदान करने, आतंकवाद से लड़ने और अफगानिस्तान में एक वास्तव में समावेशी और प्रतिनिधि सरकार का गठन सुनिश्चित करने का आह्वान किया।
उन्होंने भारत सरकार द्वारा उठाए गए विभिन्न मानवीय कदमों का उल्लेख किया। भारत सरकार ने अभी तक अफगानिस्तान में 3 बिलियन डॉलर का निवेश किया है ,50,000 मीट्रिक टन गेहूं, 250 टन चिकित्सा की सहायता प्रदान की है तथा अफगानिस्तान में टिड्डियों के खतरे से लड़ने के लिए 40,000 लीटर मैलाथियान कीटनाशक की भी आपूर्ति की है।
यह अलग बात है की भारत सरकार अफगानिस्तान में मौजूदा तालिबान सरकार को मान्यता नहीं देती है।
शंघाई सहयोग संगठन की स्थापना 15 जून, 2001 को एक क्षेत्रीय संगठन के रूप में की गई थी। इसने शंघाई 5- संगठन का स्थान लिया। एससीओ के संस्थापक सदस्य चीन, किर्गिज़स्तान,कजाकिस्तान, रूस, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान थे।
एससीओ के सदस्य: एससीओ में दो प्रकार के सदस्य होते हैं, स्थायी और पर्यवेक्षक।
9 स्थायी सदस्य हैं- चीन, रूस, ताजिकिस्तान कजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान, किर्गिस्तान, भारत (2017 में शामिल हुए), पाकिस्तान (2017 में शामिल हुए) और ईरान (2023 में शामिल हुए)।
पर्यवेक्षक सदस्य (3)
अफगानिस्तान, बेलारूस और मंगोलिया।
मुख्यालय: बीजिंग, चीन
एससीओ के वर्तमान अध्यक्ष: कजाकिस्तान
एससीओ/SCO: शंघाई कोऑपरेशन ऑर्गेनाईजेशन (Shanghai Cooperation Organization)
एनएसए /NSA: नेशनल सिक्यूरिटी एडवाइजर ( National Security Advisor)
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