केंद्र सरकार ने 1991 बैच के उत्तर प्रदेश कैडर के भारतीय पुलिस सेवा अधिकारी आलोक शर्मा को विशेष सुरक्षा समूह (एसपीजी) के निदेशक के रूप में नियुक्त किया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली कैबिनेट नियुक्ति समिति द्वारा नए एसपीजी प्रमुख के रूप में आलोक शर्मा के नियुक्ति को मंजूरी दे दी गई। आलोक शर्मा, जो वर्तमान में एसपीजी में अतिरिक्त महानिदेशक के रूप में कार्यरत हैं, को कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से अगले निर्देश तक एसपीजी निदेशक का नया कार्यभार सौंपा गया है।
विशेष सुरक्षा समूह (एसपीजी)
- स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) एक सरकारी एजेंसी है जो भारत के प्रधानमंत्री की सुरक्षा करने के जिम्मेदार है।
- प्रधानमंत्री को एसपीजी द्वारा सुरक्षा प्रदान की जाती है, चाहे वह भारत में हो या विदेश में।
- प्रधानमंत्री के निकटतम परिवार के सदस्य भी जो उनके साथ आधिकारिक आवास पर रहते हैं उनको एसपीजी द्वारा सुरक्षा दी जाती है।
- एसपीजी की स्थापना 1988 में भारतीय संसद के एक अधिनियम द्वारा की गई थी।
- पूर्व प्रधानमंत्रियों को भी पहले एसपीजी की सुरक्षा मिलती थी, लेकिन अब उन्हें जेड प्लस (Z+) की सुरक्षा दी गई है।
विशेष सुरक्षा समूह
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संक्षेप में नाम
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एसपीजी
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गठन
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8 अप्रैल 1985; 38 साल पहले
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सिद्धांत
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बहादुरी, समर्पण, सुरक्षा
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शासी निकाय
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कैबिनेट सचिवालय
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गठन अधिनियम
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विशेष सुरक्षा समूह अधिनियम, 1988
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मुख्यालय
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नई दिल्ली
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आदेश और नियंत्रण
- निदेशक, जो एसपीजी के नेतृत्व और निरीक्षण के लिए जिम्मेदार है, तकनीकी रूप से कैबिनेट सचिवालय में सचिव स्तर का अधिकारी होगा।
- इसके गठन के बाद से, एसपीजी का निदेशक, भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) का एक अधिकारी रहा है, जो कि पुलिस महानिरीक्षक के रैंक का रहा हो।
- एसपीजी सीधी भर्ती नहीं करता है। बल्कि, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों और रेलवे सुरक्षा बल के कर्मचारियों में से सबसे योग्य सैन्यबल की प्रतिनियुक्ति की जाती है।
- एसपीजी में प्रतिनियुक्ति आम तौर पर पाँच साल तक चलती है, लेकिन निदेशक के विवेक पर इसे बढ़ाया जा सकता है।
- एसपीजी के प्रमुख पदों पर नियुक्ति आईपीएस रैंक के अधिकारी की जाती है, जो नेतृत्व और समन्वय के लिए जिम्मेदार होते हैं।
एसपीजी की वर्तमान जिम्मेदारियाँ
- भारत के वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एसपीजी के द्वारा सुरक्षा प्राप्त एकमात्र व्यक्ति हैं।
- 1991 से 2019 तक, सोनिया गांधी और उनके बच्चों, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को एसपीजी के द्वारा सुरक्षा दी जाती थी।
- 8 नवंबर, 2019 को, भारत सरकार ने उनकी एसपीजी सुरक्षा को रद्द कर दी और उसकी जगह पर जेड प्लस (Z+) सुरक्षा दे दी गई।
- वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पूर्ववर्ती, मनमोहन सिंह के लिए एसपीजी सुरक्षा हटाने के साथ ही सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री के परिवारों की भी एसपीजी सुरक्षा को समाप्त कर उसे जेड प्लस सुरक्षा में बदल दिया।
- एसपीजी सुरक्षा प्राप्त व्यक्ति, सभी भारतीय हवाई अड्डों पर व्यक्तिगत सुरक्षा जांच से मुक्त होते हैं और उन्हें भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण द्वारा नियंत्रित हवाई अड्डों पर वीआईपी लाउंज तक पहुंच प्राप्त होती है।
- वे प्रधानमंत्री कार्यालय और निवास जैसी कुछ प्रमुख सरकारी सुविधाओं तक पहुँचने के दौरान सुरक्षा जांच से भी मुक्त होते हैं।
आलोक शर्मा के बारे मे
- आलोक शर्मा, 1991 बैच के उत्तरप्रदेश कैडर के आईपीएस अधिकारी हैं जो एसपीजी के अतिरिक्त महानिदेशक के रूप में कार्यरत हैं।
- इसमें नियुक्ति की तारीख से अगले निर्देश तक विशेष सुरक्षा समूह (एसपीजी) के निदेशक के पद पर कार्यरत रहेंगे।
- आलोक शर्मा का जन्म 1966 में उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ में हुआ था।
- उनके पास विज्ञान में बैचलर ऑफ साइंस की डिग्री है।
- उन्होंने उत्तर प्रदेश राज्य के अंतर्गत कई उच्च-स्तरीय पदों पर कार्य किया है।
- 1991 में वह भारतीय पुलिस सेवा में शामिल हुए।
- 2021 में एसपीजी में अतिरिक्त महानिदेशक के रूप में तैनाती से पहले, शर्मा 28 फरवरी, 2018 से एसपीजी में महानिरीक्षक (आईजी) के रूप में कार्यरत थे।