भारत सरकार ने वरिष्ठ आईएएस (भारतीय प्रशासनिक अधिकारी) अजय सेठ को अगला वित्त सचिव नियुक्त किया है। वे तुहिन कांता पांडे का स्थान लेंगे, जिन्होंने पूंजी बाजार नियामक भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के 11वें अध्यक्ष का पदभार संभाला है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की नियुक्ति समिति की बैठक,जिसमे केंद्रीय गृह मंत्री और सहकारिता मंत्री अमित शाह ने भी भाग लिया,अजय सेठ को केंद्रीय वित्त मंत्रालय का नया वित्त सचिव नियुक्त करने के प्रस्ताव को अपनी मंजूरी दी।
अजय सेठ वर्तमान में भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के आर्थिक मामलों के विभाग के सचिव हैं। इस साल फरवरी में अजय सेठ को केंद्रीय वित्त मंत्रालय के राजस्व विभाग के सचिव के पद का अतिरिक्त प्रभार भी दिया गया था।
वर्तमान में अजय सेठ एशियाई विकास बैंक (एडीबी) बोर्ड ऑफ गवर्नर्स में भारत के वैकल्पिक गवर्नर हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, एडीबी बोर्ड ऑफ गवर्नर्स में भारत का प्रतिनिधित्व करती हैं।
अजय सेठ कर्नाटक कैडर के 1987 बैच के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारी हैं।
अजय सेठ ने आईआईटी रुड़की से मैकेनिकल इंजीनियरिंग में बीटेक की हैं। उन्होंने फिलीपींस के एटेनियो डी मनीला विश्वविद्यालय से एमबीए भी किया है।
अजय सेठ की विशेषज्ञता सामाजिक क्षेत्र प्रशासन, सार्वजनिक वित्त और कराधान में है।
अजय सेठ को कर्नाटक के वाणिज्यिक कर प्रशासन को बदलने में उनके अनुकरणीय कार्य के लिए 2013 में लोक प्रशासन में उत्कृष्टता के लिए प्रधानमंत्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
देश की आर्थिक नीति बनाने में अहम भूमिका निभाने के अलावा वित्त सचिव एक रुपये के नोटों पर भी अपने हस्ताक्षर करते हैं।
सिक्का अधिनियम 2011 के अनुसार, भारत सरकार न्यूनतम 50 पैसे और अधिकतम 1000 रुपये मूल्य के एक रुपये के नोट और सिक्के जारी करती है।
आरबीआई अधिनियम 1934 के तहत, भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) 2 रुपये से लेकर 10,000 रुपये तक के मूल्यवर्ग के नोट जारी कर सकता है।
आरबीआई द्वारा जारी किए गए नोटों पर आरबीआई के गवर्नर के हस्ताक्षर होते हैं, जबकि एक रुपये के नोट पर केंद्रीय वित्त सचिव के हस्ताक्षर होते हैं।
एक रुपये के नोटों का इतिहास
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