राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को पुर्तगाल की राजधानी लिस्बन शहर का मानद नागरिक बनाया गया है और 7 अप्रैल 2025 को उन्हें लिस्बन शहर की प्रतिष्ठित "की ऑफ ऑनर" प्रदान की गई। राष्ट्रपति मुर्मू को यह चाबी लिस्बन के मेयर कार्लोस मोएदास के द्वारा शहर के ऐतिहासिक कैमारा म्युनिसिपल डी लिस्बोआ में प्रदान की।
राष्ट्रपति मुर्मू 7-10 अप्रैल 2025 तक पुर्तगाल और स्लोवाकिया की दो देशों की आधिकारिक यात्रा पर हैं। अपनी यात्रा के पहले चरण में राष्ट्रपति मुर्मू 7-8 अप्रैल 2025 को पुर्तगाल में रहेंगी, जबकि अपने दूसरे चरण में वह 9-10 अप्रैल 2025 को स्लोवाकिया का दौरा करेंगी।
राष्ट्रपति की पुर्तगाल यात्रा की मुख्य विशेषताएं
27 वर्षों के बाद किसी भारतीय राष्ट्रपति की यात्रा
- 27 वर्षों के बाद किसी भारतीय राष्ट्रपति ने पुर्तगाल का दौरा किया।
- राष्ट्रपति के आर नारायणन के 1998 के पुर्तगाल दौरे के बाद,राष्ट्रपति मुर्मू ,पुर्तगाल यात्रा की यात्रा करने वाली दूसरी भारतीय राष्ट्रपति हैं।
राजनयिक संबंधों के 50 वर्षों की पुनः स्थापना पर डाक टिकट
- दोनों देश राजनयिक संबंधों की पुनः स्थापना के 50 वर्ष पूरे होने का जश्न मना रहे हैं।
- राष्ट्रपति मुर्मू और पुर्तगाल के राष्ट्रपति मार्सेलो रेबेलो डी सूसा की उपस्थिति में दोनों देशों के बीच राजनयिक संबंधों के 50 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में एक डाक टिकट जारी किया गया।
- इन टिकटों पर राजस्थान की कालबेलिया पोशाक और पुर्तगाल की पारंपरिक वियाना डू कास्टेलो पोशाक को दर्शाया गया है।
अन्य
- राष्ट्रपति मुर्मू का आधिकारिक तौर पर पुर्तगाल के राष्ट्रपति मार्सेलो रेबेलो डी सूसा ने लिस्बन में ऐतिहासिक ‘प्राका डू इम्पेरियो’ में स्वागत किया।
- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पुर्तगाल के राष्ट्रीय कवि लुइस वाज डी कैमोस की समाधि पर पुष्पांजलि भी अर्पित की।
- उन्होंने पुर्तगाल के प्रधानमंत्री लुइस मोंटेनेग्रो और नेशनल असेंबली (संसद) के अध्यक्ष जोस पेड्रो अगुइर-ब्रैंको से भी मुलाकात की।
- राष्ट्रपति मुर्मू ने अलमेडा में महात्मा गांधी की प्रतिमा का भी दौरा किया और महात्मा गांधी और कस्तूरबा गांधी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की।
भारत-पुर्तगाल संबंध
- भारत और पुर्तगाल के बीच ऐतिहासिक संबंध हैं, जो मई 1498 में केरल के कालीकट में पुर्तगाली खोजकर्ता वास्को दा गामा के आगमन से शुरू होते हैं।
- वे भारत के लिए समुद्री मार्ग की खोज करने वाले पहले यूरोपीय हैं।
- पुर्तगालियों ने 1502 ई. में केरल के कोल्लम में अपना पहला व्यापारिक केंद्र स्थापित किया।
- पुर्तगाल ने दीव, दमन, दादरा और नगर हवेली और गोवा पर कब्ज़ा करके भारत में अपना साम्राज्य स्थापित किया।
- दोनों देशों के बीच राजनयिक संबंध 1949 में स्थापित हुए।
- पुर्तगाल के तानाशाह एंटोनियो सालाज़ार द्वारा पुर्तगाली परिक्षेत्रों का भारत को आत्मसमर्पण करने से इनकार करने के बाद भारत ने 19 दिसंबर 1961 को गोवा और दीव, दमन, दादरा और नगर हवेली को मुक्त करने के लिए ऑपरेशन विजय के तहत सैन्य कार्रवाई की।
- गोवा की मुक्ति के बाद पुर्तगाल ने भारत के साथ अपने राजनयिक संबंध तोड़ लिए।
- 1974 में राजनयिक संबंध बहाल हुए और पुर्तगाल ने गोवा के भारत में विलय को स्वीकार कर लिया।
पुर्तगाल गणराज्य के बारे में
पुर्तगाल एक यूरोपीय देश है जो इबेरियन प्रायद्वीप में स्थित है।
यह अटलांटिक तट पर स्थित है।
यह यूरोपीय संघ और उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) का सदस्य है।
राजधानी: लिस्बन
मुद्रा: यूरो
राष्ट्रपति: मार्सेलो रेबेलो डी सूसा
प्रधानमंत्री: लुइस मोंटेनेग्रो