Home > Current Affairs > State > Peace agreement between Manipur's organization UNLF and the government

मणिपुर के सबसे पुराने उग्रवादी संगठन यूएनएलएफ व सरकार के मध्य शांति समझौता

Utkarsh Classes Last Updated 07-02-2025
Peace agreement between Manipur's organization UNLF and the government State news 5 min read

भारत के पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर में स्थायी शांति स्थापित करने के लिए 29 नवंबर 2023 को यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) ने नई दिल्ली में भारत सरकार के साथ एक शांति समझौते पर हस्ताक्षर किया है। इस वर्ष के मई महीने से जारी मणिपुर में हिंसा के बाद इस राज्य से एक अच्छी खबर सामने आई है। 

गृह मंत्रालय ने 13 नवंबर को ही पाँच उग्रवादी संगठनों पर प्रतिबंध बढ़ाया था: 

  • मणिपुर सरकार एक तरफ जहाँ इस संगठन से हिंसा का मार्ग छोड़ने के लिए वार्ता कर रही थी, तो वहीं दूसरी तरफ केंद्र सरकार इस संगठन पर अपना कड़ा रुख बरकरार रखे हुए थी। 
  • गृह मंत्रालय ने 13 नवंबर 2023 को पाँच उग्रवादी संगठनों पर प्रतिबंध बढ़ाई थी। इनमें यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) का नाम भी शामिल था।
  • गृह मंत्रालय के निर्णय के 17 वें दिन (29 नवंबर) उग्रवादी संगठन ने शांति समझौते पर हस्ताक्षर किये। 

यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ): 

  • स्थापना: 24 नवंबर, 1964 को एक क्रांतिकारी संगठन के रूप में की गई थी। 
  • संस्थापक: अरंबम सैमेंद्र
  • यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट को यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट ऑफ मणिपुर के नाम से भी जाना जाता है।
  • यूएनएलएफ को अपने सशस्त्र आंदोलनों को संचालित करने के लिए जबरन वसूली, हथियार व्यापार और बड़े प्रोजेक्ट से वसूली करता था। 
  • यूएनएलएफ का मूल उद्देश्य: एक संप्रभु और समाजवादी राज्य की स्थापना करना था। 

मैतेई समुदाय के नाराज लोगों ने यूएनएलएफ का गठन किया: 

  • ब्रिटिश इंडिया के समय में मणिपुर एक रियासत था। जब देश आजाद हुआ तो मणिपुर के महाराजा को कार्यकारी प्रमुख बनाकर यहाँ पर एक अलग सरकार बनाई गई थी। आगे चलकर 1972 में मणिपुर को पूर्ण राज्य का दर्जा प्रदान किया गया। 
  • मणिपुर के पूर्ण राज्य बनने से पहले ही मैतेई समुदाय के लोग मणिपुर के भारत में विलय से नाराज थे। 
  • मैतेई समुदाय ने यूएनएलएफ का गठन किया था। इस संगठन की गतिविधियां बढ़ने पर 1980 में केंद्र सरकार ने पूरे मणिपुर को अशांत क्षेत्र घोषित कर दिया था और राज्य में चल रहे विद्रोही आंदोलनों को रोकने के लिए आफस्पा एक्ट लगा दिया था। 
  • इस सब के बीच 90 के दशक में कुकी समुदाय ने अपना अलग संगठन बना लिया। इसके बाद मणिपुर में जातीय संघर्ष आरंभ हुआ।

यूएनएलएफ के सभी सदस्य तीन वर्षों तक कैंम्प में रहेंगे: 

  • उग्रवादी संगठन यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) के सभी सदस्य अगले तीन वर्ष  तक कैंपों में रहेंगें। 
  • गृह मंत्रालय की पूर्वोत्तर राज्यों में उग्रवादियों के आत्मसमर्पण-सह-पुनर्वास की संशोधित योजना 2018 के तहत प्रत्येक सदस्य को 4 लाख रुपये का एकमुश्त वित्तीय अनुदान प्रदान किया जाएगा। 
    • ये अनुदान, 3 वर्षो के लिए सावधि जमा के रूप में उनके नाम के बैंक खाते में रखा जाएगा।
    • इसी में आत्मसमर्पण करने वाले प्रत्येक व्यक्ति को तीन साल तक पुनर्वास शिविर रहने की अनिवार्य शर्त है। 
    • इस दौरान उन्हें तीन साल तक 6,000 रुपये का मासिक वजीफा दिया जाएगा।
  • दो साल पहले 9 मार्च, 2021 को मणिपुर के इंफाल में विभिन्न आतंकी संगठनों के 20 सदस्यों ने हथियार डाले थे। आत्मसमर्पण करने वाले व्यक्तियों में से 16 थडौ पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (टीपीएलए) के सदस्य और 2 यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) के सदस्य शामिल  थे। यूएनएलएफ के आत्मसमर्पण करने के बाद संभावना जताई जा रही है कि राज्य के बचे आतंकी संगठन भी हथियार छोड़कर मुख्यधारा में वापसी कर सकते हैं।

मणिपुर: 

  • राजधानी: इम्फाल 
  • मुख्यमंत्री: एन बीरेन सिंह 
  • राज्यपाल: सुश्री अनुसुइया उइके
  • क्षेत्रफल: 22,327 वर्ग किलोमीटर
  • जनसंख्याँ: 28.55 लाख
  • मणिपुर में हिंदू और ईसाई लगभग बराबर हैं। इसके अलावा राज्य में मुस्लिम, कुछ सिख समुदाय  की मौजूदगी भी है।

FAQ

Answer:- भारत के पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर में स्थायी शांति स्थापित करने के लिए 29 नवंबर 2023 को यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) ने नई दिल्ली में भारत सरकार के साथ एक शांति समझौते पर हस्ताक्षर किया है।

Answer:- गृह मंत्रालय ने 13 नवंबर 2023 को ही पाँच उग्रवादी संगठनों पर प्रतिबंध की अवधि बढ़ाई है।

Answer:- उग्रवादी संगठन यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) के सभी सदस्य अगले तीन वर्षों तक कैंपों में रहेंगे।

Answer:- उग्रवादी संगठन यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) के गठन में मणिपुर के मैतेई समुदाय की महत्वपूर्ण भूमिका रही है।

Answer:- अरंबम सैमेंद्र को यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट के संस्थापक के रूप में जाना जाता है।
Leave a Review

Today's Article

Utkarsh Classes
DOWNLOAD OUR APP

Utkarsh Classes: Prepare for State & Central Govt Exams

With the trust and confidence of our students, the Utkarsh Mobile App has become a leading educational app on the Google Play Store. We are committed to maintaining this legacy by continually updating the app with unique features to better serve our aspirants.