कोझिकोड जिला प्रशासन ने सितंबर 13 ,2023 को ताजा निपाह वायरस मामले के फैलने के बाद जिले के 7 गांवों को एक नियंत्रण क्षेत्र के रूप में अधिसूचित किया है ।राज्य प्रशासन की यह कार्रवाई केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन द्वारा 12 सितंबर 2023 को एक फेसबुक पोस्ट में निपाह वायरस के कारण कोझिकोड जिले में दो लोगों की मौत की पुष्टि करने के बाद आई है।उन्होंने इस पोस्ट में और दो लोगों को निपह वाइरस से संक्रमित होने की पुष्टि भी की थी।
केंद्र सरकार ने वायरस पर परीक्षण और चमगादड़ों का सर्वेक्षण करने के लिए कोझिकोड मेडिकल कॉलेज में एक मोबाइल लैब स्थापित करने के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी), पुणे से एक टीम भेजी है।
राज्य प्रशासन ने निपाह वायरस के प्रसार को रोकने के लिए कोझिकोड जिले की सात ग्राम पंचायतों अतानचेरी, मारुथोनकारा, तिरुवल्लूर, कुट्टियाडी, कयाक्कोडी, विल्यापल्ली और कविलुम्परा को नियंत्रण क्षेत्र (कन्टेनमेंट जोन) घोषित किया है। किसी भी व्यक्ति को 43 वार्डों के अंदर और बाहर यात्रा करने की अनुमति नहीं दी जा रही है । सात ग्राम पंचायतों को अगली सूचना तक निषिद्ध क्षेत्र घोषित किया गया है ।
केरल में निपाह वायरस के मामले
केरल में पहली बार निपाह वायरस का प्रकोप 2018 में कोझिकोड और मलप्पुरम जिलों में रिपोर्ट किया गया था। फिर 2021 में कोझिकोड जिले में एक और प्रकोप की सूचना मिली थी।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के अनुसार, टेरोपोडिडे परिवार(Pteropodidae ) के फल चमगादड़ - विशेष रूप से टेरोपस जीनस(Pteropus genus) से संबंधित प्रजातियां - निपाह वायरस के प्राकृतिक मेजबान हैं।
डबल्यूएचओ के अनुसार;
रोग का चिन्ह एवं लक्षण
संक्रमित लोगों में शुरू में बुखार, सिरदर्द, मायलगिया (मांसपेशियों में दर्द), उल्टी और गले में खराश जैसे लक्षण विकसित होते हैं। इसके बाद चक्कर आना, उनींदापन, परिवर्तित चेतना और न्यूरोलॉजिकल संकेत हो सकते हैं जो तीव्र एन्सेफलाइटिस हो सकते हैं।
डबल्यूएचओ के अनुसार निपह वाइरस का ऊष्मायन अवधि (संक्रमण से लक्षणों की शुरुआत तक का अंतराल) 4 से 14 दिनों तक होती है। हालाँकि, 45 दिनों तक की ऊष्मायन अवधि भी पायी गई है ।
निपाह वायरस से संक्रमित मरीज का इलाज
वर्तमान में दुनिया में निपाह वायरस संक्रमण के लिए विशिष्ट कोई दवा या टीका विकसित नहीं किया गया है। निपाह वायरस से संक्रमित 40% से 75% लोगों की मौत हो जाती है।